मी विजयकुमार भुजबळ आपले vijayjob .in या website आपले सहर्ष स्वागत करीत आहे .. माझ्या blog ला भेट दिल्या बद्दल मनपूर्वक आभार धन्यवाद

h 2

बिपिनचन्द्र पाल..

 

         *बिपिनचन्द्र पाल*                                                                                                                            (भारतीय क्रांतिकारी) 

      *जन्म : 7 नवंबर, 1858*

(हबीबगंज ज़िला, (वर्तमान बांग्लादेश)

      *मृत्यु : 20 मई, 1932*

नागरिकता : भारतीय

प्रसिद्धि : स्वतन्त्रता सेनानी, शिक्षक, पत्रकार, लेखक

पार्टी : भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, ब्रह्म समाज

विशेष योगदान : विपिन चन्द्र कांग्रेस के क्रान्तिकारी देशभक्तों लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक और विपिन चन्द्र पाल (लाल बाल पाल) की तिकड़ी का हिस्सा थे।

आंदोलन : भारतीय स्वतंत्रता संग्राम

अन्य जानकारी : 'वंदे मातरम्' पत्रिका के संस्थापक रहे बिपिन चंद्र पाल एक समाज सुधारक भी थे, जिन्होंने परिवार के विरोध के बावज़ूद एक विधवा से विवाह किया था।

             बिपिन चंद्र पाल  का नाम भारत के स्वाधीनता संग्राम के इतिहास में 'क्रान्तिकारी विचारों के जनक' के रूप में आता है, जो अंग्रेज़ों की चूलें हिला देने वाली 'लाल' 'बाल' 'पाल' तिकड़ी का एक हिस्सा थे।


👱‍♂️ *जन्म*

         बंगाल में हबीबगंज ज़िले के पोइल गाँव (वर्तमान में बांग्लादेश) में 7 नवम्बर 1858 को जन्मे विपिन चन्द्र पाल बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे। वह शिक्षक और पत्रकार होने के साथ-साथ एक कुशल वक्ता और लेखक भी थे। इतिहासकार वी. सी. साहू के अनुसार विपिन चन्द्र कांग्रेस के क्रान्तिकारी देशभक्तों लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक और विपिन चन्द्र पाल (लाल बाल पाल) की तिकड़ी का हिस्सा थे, जिन्होंने 1905 में बंगाल विभाजन के विरोध में ज़बर्दस्त आंदोलन चलाया था।      💁‍♂️ *जीवन परिचय*

                'वंदे मातरम्' पत्रिका के संस्थापक रहे पाल एक बड़े समाज सुधारक भी थे, जिन्होंने परिवार के विरोध के बावज़ूद एक विधवा से शादी की। बाल गंगाधर तिलक की गिरफ़्तारी और 1907 में ब्रितानिया हुकूमत द्वारा चलाए गए दमन के समय पाल इंग्लैंण्ड गए। वह वहाँ क्रान्तिकारी विधार धारा वाले 'इंडिया हाउस' से जुड़ गए और 'स्वराज पत्रिका' की शुरुआत की। मदन लाल ढींगरा के द्वारा 1909 में कर्ज़न वाइली की हत्या कर दिये जाने के कारण उनकी इस पत्रिका का प्रकाशन बंद हो गया और लंदन में उन्हें काफ़ी मानसिक तनाव से गुज़रना पड़ा। इस घटना के बाद वह उग्र विचारधारा से अलग हो गए और स्वतंत्र देशों के संघ की परिकल्पना पेश की। पाल ने कई मौक़ों पर महात्मा गांधी की आलोचना भी की। 1921 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अधिवेशन में पाल ने अध्यक्षीय भाषण में गांधीजी की आलोचना करते हुए कहा था-

आप जादू चाहते हैं, लेकिन मैं तर्क में विश्वास करता हूँ। आप मंत्रम चाहते हैं, लेकिन मैं कोई ऋषि नहीं हूँ और मंत्रम नहीं दे सकता।

🇮🇳 *आजादी में योगदान*

                    वंदे मातरम् राजद्रोह मामले में भी अरबिंदो घोष के ख़िलाफ़ गवाही देने से इंकार करने के कारण वह छह महीने जेल में रहे। देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने 1958 में पाल की जन्मशती के मौक़े पर अपने सम्बोधन में उन्हें एक ऐसा महान् व्यक्तित्व क़रार दिया, जिसने धार्मिक और राजनीतिक मोर्चों पर उच्चस्तरीय भूमिका निभाई। पाल ने आज़ादी की लड़ाई के दौरान विदेशी कपड़ों की होली जलाने और हड़ताल जैसे आंदोलनों में बढ़-चढ़कर भूमिका निभाई।


🪔  *निधन*

               विपिनचन्द्र पाल 1922 में राजनीतिक जीवन से अलग हो गए और 20 मई, 1932 में अपने निधन तक राजनीति से अलग ही रहे।

                                                                                               

         

हवाई दल कॉमन अॅडमिशन टेस्ट (AFCAT)

 AFCAT २०२६-१ साठी अर्ज प्रक्रिया १० नोव्हेंबरपासून सुरू होत आहे. अर्ज करण्याची अंतिम तारीख ९ डिसेंबर आहे. इच्छुक आणि पात्र उमेदवार ९ डिसेंबरपर्यंत AFCAT च्या अधिकृत वेबसाइट afcat.cdac.in ला भेट देऊन ऑनलाइन अर्ज करू शकतात.


AFCAT म्हणजे काय याबद्दल अधिक जाणून घेऊया. AFCAT द्वारे कोणती पदे उपलब्ध आहेत? AFCAT साठी कोण अर्ज करू शकते? उदाहरणार्थ, शैक्षणिक पात्रता आणि वयोमर्यादा काय आहेत? चला याबद्दल जाणून घेऊया.

AFCAT म्हणजे काय?

हवाई दल कॉमन अॅडमिशन टेस्ट (AFCAT) दरवर्षी दोनदा घेतली जाते. ही एक राष्ट्रीय स्तरावरील परीक्षा आहे जी यशस्वी उमेदवारांना हवाई दलाच्या विविध शाखांमध्ये रोजगाराच्या संधी प्रदान करते. भारतीय हवाई दलात करिअर करू इच्छिणाऱ्यांसाठी AFCAT ही अनिवार्य प्रवेश परीक्षा आहे. जानेवारी २०२७ मध्ये AFCAT भरतीसाठी ही अधिसूचना जारी करण्यात आली आहे.

AFCAT साठी पात्र उमेदवारांना भारतीय हवाई दलात फ्लाइंग ब्रांच, ग्राउंड ड्यूटी (टेक्निकल ब्रांच) आणि ग्राउंड ड्यूटी (नॉन-टेक्निकल ब्रांच) सारख्या पदांवर नियुक्त केले जाते.

कसा करावा अर्ज
AFCAT २०२६-१ साठी अर्ज करण्यासाठी, प्रथम अधिकृत वेबसाइट afcat.cdac.in ला भेट द्या.

वेबसाइटच्या होमपेजवरील AFCAT १ २०२६ ऑनलाइन अर्ज करा लिंकवर क्लिक करा.

एक वेबपेज उघडेल. तुमचा ईमेल आयडी आणि मोबाईल नंबर प्रविष्ट करा.

पुढील नोंदणी प्रक्रियेत तुमची वैयक्तिक आणि शैक्षणिक माहिती प्रविष्ट करा.

शुल्क भरून फॉर्म सबमिट करा आणि तो प्रिंट करा.

काय आहे पात्रता
AFCAT साठी वयोमर्यादेबाबत, १८ ते २४ वर्षे वयोगटातील उमेदवार अर्ज करू शकतात. शैक्षणिक पात्रतेबाबत, ६०% गुणांसह पदवीधर फ्लाइंग ब्रांचसाठी अर्ज करू शकतात, परंतु त्यांच्याकडे १२ व्या वर्गात भौतिकशास्त्र आणि गणित असणे आवश्यक आहे.

अभियांत्रिकी पदवीधर ग्राउंड ड्यूटी (टेक्निकल) साठी अर्ज करू शकतात आणि ग्राउंड ड्यूटी (नॉन-टेक्निकल) साठी कोणत्याही प्रवाहात ६०% गुणांसह पदवीधर झालेले उमेदवार अर्ज करू शकतात.

पदवीधर मतदार नोंदणी 2025

 नोंदणी करण्याची मुदत 6 नोव्हेंबर 2025 आहे..

https://mahaelection.gov.in




आपले नाव मतदार यादीमध्ये शोधण्यासाठी अधिकृत लिंक:  

👉 https://electoralsearch.eci.gov.in — ही भारत निवडणूक आयोगाची अधिकृत वेबसाइट आहे.


🗳️ मतदार यादीत नाव कसे शोधावे?


तुमच्याकडे असलेला EPIC क्रमांक (मतदान कार्डवरील क्रमांक) किंवा तुमचे वैयक्तिक तपशील वापरून तुम्ही नाव शोधू शकता:


1. EPIC क्रमांक वापरून:

- वरील लिंकवर क्लिक करा

- “Search by EPIC No.” पर्याय निवडा

- EPIC क्रमांक, राज्य, आणि कॅप्चा कोड टाका

- “Search” बटनावर क्लिक करा


2. वैयक्तिक तपशील वापरून:

- “Search by Details” पर्याय निवडा

- तुमचे नाव, वडिलांचे नाव, जन्मतारीख/वय, राज्य, जिल्हा, आणि विधानसभा क्षेत्र निवडा

- कॅप्चा कोड टाकून “Search” क्लिक करा


3. मोबाईल नंबर वापरून (जर EPIC सोबत लिंक केलेला असेल):

- “Search by Mobile” पर्याय निवडा

- मोबाईल नंबर टाका → OTP मिळवा → OTP टाकून “Search” क्लिक करा.


📱 मोबाईल अ‍ॅप पर्याय:  

तुम्ही “Voter Helpline” अ‍ॅप Google Play Store वरून डाउनलोड करूनही नाव शोधू शकता.

NET exam 2025

 Opening of the online registration portal for submission of Online Application Form for UGC-NET December 2025 examination - reg.


The NTA has been entrusted by the University Grants Commission (UGC) with the task of conducting UGC-NET, which is a test to determine the eligibility of Indian nationals for (i) 'award of Junior Research Fellowship and appointment as Assistant Professor', (ii)'appointment as Assistant Professor and admission to Ph.D. and (iii)'admission to Ph.D. only' in Indian universities and colleges.


The National Testing Agency (NTA) will conduct UGC-NET December 2025 for 85 subjects in Computer Based Test (CBT) mode, as per Schedule given in table below:


Submission of Online Application Form


07 October 2025 to 07th November 2025


(upto 11:50 P.M.)


Last date for submission of Examination fee (through Credit Card/Debit Card/Net Banking/UPI


07th November 2025


Correction in the Particulars in Online Application Form


(upto 11:50 P.M.)


Announcement of Exam City


10th November 2025 to 12th November 2025


(upto 11:50 P.Μ.)


Downloading of Admit Card


To be Intimated Later


Date of Examination


To be Intimated Later


To be Intimated Later


Centre, Date and Shift


As indicated on Admit Card


Display of Recorded Responses and Answer Key(s)


To be announced later on the website


Website


https://ugc.net.nta.nic.in/www.nta.ac.in


General/Unreserved


Rs. 1150/-


General-EWS/OBC-NCL


Rs. 600/-


Application Fee


SC/ST/PWD


Third Gender


Rs. 325/-


Important Instructions:


1. Candidates can apply for UGC NET December 2025 through the "Online" mode only through the website https://ugcnet.nta.nic.in/.


2. Submission of the Online Application Form may be done by accessing the NTA website https://ugcnet.nta.nic.in/. The Application Form in any other mode will not be accepted.


3. Only one application is to be submitted by a candidate.


4. Candidates must strictly follow the instructions given in the Information Bulletin. available on the NTA website. Candidates not complying with the instructions shall be summarily disqualified.


5. Candidates must ensure that the e-mail address and Mobile Number provided in the Online Application Form are their own or Parents/Guardians only and accessible, as all information/ communication will be sent by NTA through e-mail on the registered e-mail address or SMS on the registered Mobile Number only.

6. In case candidate faces difficulty in applying for UGC NET December 2025, please contact on 01140759000/ 011 69227700 or e-mail at ugcnet@nta.ac.in for any clarification related to the UGC-NET December 2025.


7. Candidates must fill in their particulars carefully, as no changes will be a the final submission of the Application Form. As far as possible, cai advised to use Aadhaar verification while completing the Application F will facilitate the registration and examination process, particularly at the centres, as also the processing of their JRF.

गती व गतीचे प्रकारा आधारित टेस्ट

गती व गतीचे प्रकार आधारित टेस्ट

⚙️ गती व गतीचे प्रकार आधारित ऑनलाइन टेस्ट ⚙️

1. वस्तूच्या स्थितीत वेळेनुसार बदल होणे म्हणजे काय?

बल
गती
वेग
त्वरण

2. एका दिशेने सरळ रेषेत होणारी गती कोणती?

सरळरेषीय गती
वर्तुळाकार गती
दोलन गती
अनियमित गती

3. पंखा फिरतो, तो कोणत्या प्रकारच्या गतीचे उदाहरण आहे?

वर्तुळाकार गती
दोलन गती
सरळरेषीय गती
मिश्र गती

4. घड्याळाच्या लंबकाची गती कोणत्या प्रकारची असते?

सरळरेषीय
वर्तुळाकार
दोलन गती
अनियमित गती

5. एका वस्तूची गती दुसऱ्या वस्तूच्या तुलनेत बदलली की आपण तिला काय म्हणतो?

स्थित वस्तू
गतीमान वस्तू
जडत्व
बलमान वस्तू

6. रस्त्यावर धावणारी बस कोणत्या गतीचे उदाहरण आहे?

वर्तुळाकार
सरळरेषीय
दोलन
मिश्र

7. चाक फिरते ही कोणत्या गतीचे उदाहरण आहे?

वर्तुळाकार गती
दोलन गती
सरळरेषीय गती
अनियमित गती

8. दोलन गतीचे दुसरे नाव काय आहे?

नियमित गती
कंप गती
परिपथ गती
स्थिर गती

9. पंख्याची गती कोणत्या प्रकारात मोडते?

दोलन गती
सरळरेषीय गती
वर्तुळाकार गती
अनियमित गती

10. गती ही कोणावर अवलंबून असते?

वेळ आणि अंतरावर
वजनावर
बलावर
तापमानावर

11. झोका ही कोणत्या प्रकारची गती आहे?

वर्तुळाकार
दोलन
सरळरेषीय
अनियमित

12. एकाच वेळी एकापेक्षा जास्त प्रकारची गती असल्यास तिला काय म्हणतात?

मिश्र गती
सरळरेषीय गती
वर्तुळाकार गती
अनियमित गती

13. पृथ्वीची स्वतःभोवतीची गती कोणत्या प्रकारात मोडते?

दोलन गती
वर्तुळाकार गती
सरळरेषीय गती
मिश्र गती

14. पृथ्वी सूर्याभोवती फिरते ही कोणती गती आहे?

वर्तुळाकार गती
दोलन गती
सरळरेषीय गती
अनियमित गती

15. ज्यामध्ये वस्तू एकाच बिंदूपासून पुढे मागे हालते ती गती कोणती?

दोलन गती
वर्तुळाकार गती
सरळरेषीय गती
अनियमित गती

16. मनुष्य सायकल चालवतो ही कोणत्या प्रकारची गती आहे?

सरळरेषीय
मिश्र
दोलन
वर्तुळाकार

17. दोलन गतीला आणखी काय म्हणतात?

आवर्तन गती
स्थिर गती
अवर्तनीय गती
अनियमित गती

18. रस्त्यावर चालणारी गाडी कोणत्या प्रकारची गती आहे?

सरळरेषीय
वर्तुळाकार
दोलन
मिश्र

19. गती मोजण्यासाठी कोणत्या दोन घटकांची आवश्यकता असते?

वेळ आणि अंतर
बल आणि वस्तू
तापमान आणि दिशा
दाब आणि घनता

20. गतीचे मूलभूत प्रकार किती आहेत?

दोन
चार
तीन
पाच

मूलद्रव्यांच्या मराठी संज्ञा



मूलद्रव्यांच्या मराठी संज्ञा


अणुक्रमांक मराठी नाव रासायनिक संकेत इंग्रजी नाव

1 हायड्रोजन H Hydrogen

2 हेलियम He Helium

3 लिथियम Li Lithium

4 बेरिलियम Be Beryllium

5 बोरॉन B Boron

6 कार्बन C Carbon

7 नत्रवायू N Nitrogen

8 प्राणवायू O Oxygen

9 फ्लोरीन F Fluorine

10 निऑन Ne Neon

11 सोडियम Na Sodium

12 मॅग्नेशियम Mg Magnesium

13 ॲल्युमिनियम Al Aluminium

14 सिलिकॉन Si Silicon

15 स्फुरद P Phosphorus

16 गंधक S Sulfur

17 क्लोरीन Cl Chlorine

18 ॲरगॉन Ar Argon

19 पालाश K Potassium

20 कॅल्शियम Ca Calcium

21 स्कॅन्डियम Sc Scandium

22 टायटॅनियम Ti Titanium

23 व्हेनेडियम V Vanadium

24 क्रोमियम Cr Chromium

25 मॅंगनीज Mn Manganese

26 लोखंड Fe Iron

27 कोबाल्ट Co Cobalt

28 निकेल Ni Nickel

29 तांबे Cu Copper

30 जस्त Zn Zinc

31 गॅलियम Ga Gallium

32 जर्मेनियम Ge Germanium

33 आर्सेनिक As Arsenic

34 सेलेनियम Se Selenium

35 ब्रोमिन Br Bromine

36 क्रिप्टॉन Kr Krypton

37 रुबिडियम Rb Rubidium

38 स्ट्रॉन्शियम Sr Strontium

39 इट्रियम Y Yttrium

40 झिर्कोनियम Zr Zirconium

41 नायोबियम Nb Niobium

42 मॉलिब्डेनम Mo Molybdenum

43 टेक्नेटियम Tc Technetium

44 रुथेनियम Ru Ruthenium

45 रोडियम Rh Rhodium

46 पॅलेडियम Pd Palladium

47 चांदी Ag Silver

48 कॅडमियम Cd Cadmium

49 इंडियम In Indium

50 कथील Sn Tin

51 अँटिमनी Sb Antimony

52 टेलुरियम Te Tellurium

53 आयोडिन I Iodine

54 झेनॉन Xe Xenon

55 सिझियम Cs Caesium

56 बेरियम Ba Barium

57 लॅन्थनम La Lanthanum

58 सेरियम Ce Cerium

59 प्रॅसिओडायमियम Pr Praseodymium

60 नियोडायमियम Nd Neodymium

61 प्रोमेथियम Pm Promethium

62 सॅमेरियम Sm Samarium

63 युरोपियम Eu Europium

64 गॅडोलिनियम Gd Gadolinium

65 टेर्बियम Tb Terbium

66 डिस्प्रोसियम Dy Dysprosium

67 होल्मियम Ho Holmium

68 अर्बियम Er Erbium

69 थुलियम Tm Thulium

70 यटरबियम Yb Ytterbium

71 लुटेटियम Lu Lutetium

72 हाफ्नियम Hf Hafnium

73 टँटलम Ta Tantalum

74 टंगस्टन W Tungsten

75 र्हेनियम Re Rhenium

76 ओस्मियम Os Osmium

77 इरिडियम Ir Iridium

78 प्लॅटिनम Pt Platinum

79 सोने Au Gold

80 पारा Hg Mercury

81 थॅलियम Tl Thallium

82 शिसे Pb Lead

83 बिस्मथ Bi Bismuth

84 पोलोनियम Po Polonium

85 अॅस्टाटिन At Astatine

86 रॅडॉन Rn Radon

87 फ्रान्सियम Fr Francium

88 रेडियम Ra Radium

89 ॲक्टिनियम Ac Actinium

90 थोरियम Th Thorium

91 प्रोटॅक्टिनियम Pa Protactinium

92 युरेनियम U Uranium

93 नेप्चुनियम Np Neptunium

94 प्लुटोनियम Pu Plutonium

95 अमेरिशियम Am Americium

96 क्युरियम Cm Curium

97 बर्केलियम Bk Berkelium

98 कॅलिफोर्नियम Cf Californium

99 आइन्स्टाइनियम Es Einsteinium

100 फर्मियम Fm Fermium

101 मेंडेलेव्हियम Md Mendelevium

102 नोबेलियम No Nobelium

103 लॉरेन्सियम Lr Lawrencium

104 रुदरफोर्डियम Rf Rutherfordium

105 डब्नियम Db Dubnium

106 सीबोर्जियम Sg Seaborgium

107 बोह्रियम Bh Bohrium

108 हासियम Hs Hassium

109 मैटनेरियम Mt Meitnerium

110 डार्मस्टाटियम Ds Darmstadtium

111 रॉंटजेनियम Rg Roentgenium

112 कोपरनिशियम Cn Copernicium

113 निहोनियम Nh Nihonium

114 फ्लेरोव्हियम Fl Flerovium

115 मॉस्कोव्हियम Mc Moscovium

116 लिव्हरमोरियम Lv Livermorium

117 टेनेसीन Ts Tennessine

118 ओगनेसन Og Oganesson



महाराष्ट्र राज्याची प्रतीके आधारित टेस्ट

महाराष्ट्र राज्याची प्रतीके टेस्ट

महाराष्ट्र राज्याची प्रतीके टेस्ट

सूचना: प्रत्येक प्रश्नासाठी योग्य उत्तर निवडा. सबमिट करा → स्कोअर पहा.

प्रश्न 1

महाराष्ट्राचा राष्ट्रीय प्राणी कोणता आहे?

प्रश्न 2

महाराष्ट्राचा राज्य पक्षी कोणता आहे?

प्रश्न 3

महाराष्ट्राचा राज्य फूल कोणते आहे?

प्रश्न 4

महाराष्ट्राचा राज्य वृक्ष कोणता आहे?

प्रश्न 5

महाराष्ट्राचा राज्य मासा कोणता आहे?

प्रश्न 6

महाराष्ट्राचा राज्य गीत कोणते आहे?

प्रश्न 7

महाराष्ट्राचा राज्य नृत्य कोणते आहे?

प्रश्न 8

महाराष्ट्राचा राज्य खेळ कोणता आहे?

प्रश्न 9

महाराष्ट्राचा राज्य उत्सव कोणता आहे?

प्रश्न 10

महाराष्ट्राचा राज्य कीटक कोणता आहे?

प्रश्न 11

महाराष्ट्राचा राज्य चिन्ह काय आहे?

प्रश्न 12

महाराष्ट्राचा राज्य फळ कोणते आहे?

प्रश्न 13

महाराष्ट्राचा राज्य भाषा कोणती आहे?

प्रश्न 14

महाराष्ट्राचा राज्य नृत्य शैली कोणती आहे?

प्रश्न 15

महाराष्ट्राचा राज्य संगीत प्रकार कोणता आहे?

प्रश्न 16

महाराष्ट्राचा राज्य क्रीडा प्रकार कोणता आहे?

प्रश्न 17

महाराष्ट्राचा राज्य उत्सव कोणता आहे?

प्रश्न 18

महाराष्ट्राचा राज्य चिन्ह कशावर आधारित आहे?

प्रश्न 19

महाराष्ट्राचा राज्य फळ कोणते आहे?

प्रश्न 20

महाराष्ट्राचा राज्य कॅलेंडर कोणता आहे?

भारताचे राष्ट्रीय प्रतीके आधारित टेस्ट

भारताचे राष्ट्रीय प्रतीके टेस्ट

भारताचे राष्ट्रीय प्रतीके टेस्ट

सूचना: प्रत्येक प्रश्नासाठी योग्य उत्तर निवडा. सबमिट करा → स्कोअर पहा.

प्रश्न 1

भारताचा राष्ट्रीय ध्वज कोणी डिझाइन केला?

प्रश्न 2

भारताचा राष्ट्रीय ध्वज कधी स्वीकारला गेला?

प्रश्न 3

भारताच्या राष्ट्रीय ध्वजात मध्यभागी कोणता चक्र आहे?

प्रश्न 4

भारताचा राष्ट्रीय पक्षी कोणता आहे?

प्रश्न 5

भारताचा राष्ट्रीय प्राणी कोणता आहे?

प्रश्न 6

भारताचा राष्ट्रीय फूल कोणते आहे?

प्रश्न 7

भारताचा राष्ट्रीय वृक्ष कोणता आहे?

प्रश्न 8

भारताचा राष्ट्रीय फळ कोणते आहे?

प्रश्न 9

भारताचा राष्ट्रीय खेळ कोणता आहे?

प्रश्न 10

भारताचा राष्ट्रीय नदी कोणती आहे?

प्रश्न 11

भारताचा राष्ट्रीय गीत कोणते आहे?

प्रश्न 12

भारताचा राष्ट्रीय संगीत कोणते आहे?

प्रश्न 13

भारताचा राष्ट्रीय चिन्ह (Emblem) कोणता आहे?

प्रश्न 14

भारताचा राष्ट्रीय चिन्ह कधी स्वीकारला गेला?

प्रश्न 15

भारताचा राष्ट्रीय रंग कोणता मानला जातो?

प्रश्न 16

भारताचा राष्ट्रीय कॅलेंडर कोणता आहे?

प्रश्न 17

भारताचा राष्ट्रीय जलचर प्राणी कोणता आहे?

प्रश्न 18

भारताचा राष्ट्रीय वारसा प्राणी कोणता आहे?

प्रश्न 19

भारताचा राष्ट्रीय घोषवाक्य कोणते आहे?

प्रश्न 20

भारताचा राष्ट्रीय पंचांग कोणता आहे?

भारतरत्न इंदिरा गांधी..

 


        *भारतरत्न इंदिरा गांधी*

  (५ वी व ८ वी भारतीय पंतप्रधान)

     *जन्म : १९ नोव्हेंबर १९१७*

            (मुघलसराई)

   *मृत्यू : ३१ ऑक्टोबर  १९८४*

        ( नवी दिल्ली, भारत)

          *कार्यकाळ*

जानेवारी १५ इ.स. १९८० – ऑक्टोबर ३१ इ.स. १९८४


              *राष्ट्रपती*

नीलम संजीव रेड्डी

झैल सिंग

मागील : चौधरी चरण सिंग

पुढील : राजीव गांधी


               *कार्यकाळ*

जानेवारी १९ इ.स. १९६६ – मार्च २४ इ.स. १९७७


                *राष्ट्रपती*

सर्वपल्ली राधाकृष्णन, झाकीर हुसेन, वराहगिरी वेंकट गिरी, मोहम्मद हिदायत उल्लाह, वराहगिरी वेंकट गिरी आणि फक्रुद्दीन अली अहमद

मागील : गुलजारी लाल नंदा

पुढील : मोरारजी देसाई


*भारतीय परराष्ट्रमंत्री कार्यकाळ*

मार्च ९ इ.स. १९८४ – ऑक्टोबर ३१ इ.स. १९८४

मागील : पी.व्ही. नरसिंहराव

पुढील : राजीव गांधी


            *कार्यकाळ*

ऑगस्ट २१ इ.स. १९६७ – मार्च १४ इ.स. १९६९

मागील : एम.सी. छगला

पुढील : दिनेश सिंह


*भारतीय अर्थमंत्री कार्यकाळ*

जून २६ इ.स. १९७० – एप्रिल २९ इ.स. १९७१

मागील : मोरारजी देसाई

पुढील : यशवंतराव चव्हाण


राजकीय पक्ष : भारतीय राष्ट्रीय 

                      कांग्रेस

पती : फिरोज गांधी

अपत्ये : राजीव गांधी आणि 

             संजय गांधी

निवास : १, सफदरजंग रोड, 

              नवी दिल्ली

धर्म : हिंदू

चिरविश्रांती : शक्तीस्थळ


इंदिरा गांधी या भारताच्या पहिल्या महिला पंतप्रधान होत्या. बांग्लादेशच्या उभारणीवेळी त्यांची भूमिका आणि देशाला अणुशक्ती संपन्न बनविण्याचा त्यांचा निर्णय भारताला प्रगतीपथावर नेणारा होता.


लाल बहादूर शास्त्री यांच्या निधनानंतर पंतप्रधानपदाच्या प्राप्तीसाठी त्यांना मोरारजी देसाई यांच्याशी सामना करावा लागला. त्या १९६६ मध्ये देशाच्या पाचव्या पंतप्रधान (पहिल्या महिला पंतप्रधान) बनल्या. त्यांनी पोखरण येथे पहिली अणुचाचणी घडवून आणली.


इंदिरा गांधींचा जन्म १९ नोव्हेंबर १९१७ रोजी अलाहाबाद येथे झाला. स्वातंत्र्य चळवळीत त्यांनी लहानपणापासूनच भाग घेतला. वयाच्या अवघ्या ११ व्या वर्षी त्यांनी काही स्वातंत्र्यसैनिकांच्या मदतीने अलाहाबादेतील मुलांची १९३० साली "वानर सेना' नावाची संघटना स्थापन केली. वयाच्या २१ व्या वर्षी त्यांनी राष्ट्रीय काँग्रेसमध्ये प्रवेश केला. १९५५ मध्ये त्या काँग्रेस कृती समितीच्या व सेंट्रल पार्लमेंटरी बोर्डाच्या सदस्य झाल्या. फेब्रुवारी १९५९ मध्ये त्या भारतीय राष्ट्रीय काँग्रेसच्या अध्यक्षा म्हणून निवडून आल्या. केंद्रीय मंत्रिमंडळात त्या १९६४ साली प्रथम रुजू झाल्या. तत्कालीन पंतप्रधान लाल बहादूर शास्त्री यांच्या मंत्रिमंडळात माहिती व नभोवाणी मंत्री म्हणून त्यांनी त्यावेळी कार्य केले. लालबहादुर शास्त्री यांचा ताश्कंद येथे १९६६ मधे मृत्यू झाल्यानंतर कॉँग्रेस अध्यक्ष कामराज याच्या पाठिंब्याने १८६ मतांनी मोरारजी देसाई यांचा पराभव करून त्या २४ जानेवारी १९६६ रोजी श्रीमती इंदिरा गांधी प्रधानमंत्री म्हणून विजयी झाल्या. १४ प्रमुख व्यापारी बँकांचे राष्ट्रीयीकरण आणि पोखरण येथे पहिली अणुचाचणी, ऑपरेशन ब्लू स्टार या त्यांच्या आयुष्यातल्या महत्त्वाच्या घटना होत्या.


१९७७ साली त्यानी देशात आणीबाणी लागू करण्याचा वादग्रस्त निर्णय घेतला. यामुळे १९८० पर्यंत त्या सत्तेपासून दूर राहिल्या. १९८० च्या निवडणुकांत जनतेने पुन्हा त्यांच्यावर विश्वास दाखवला. पण यावेळी त्यांना अशांत पंजाबचा सामना करावा लागला. ऑपरेशन ब्ल्यू स्टारचा निर्णय खलिस्तान चळवळीला आळा घालण्यासाठी घेतला. पण अखेर त्यामुळेच त्यांच्या दोन सुरक्षारक्षकांकडून त्यांची हत्या झाली. इंदिरा गांधी यांच्या पतीचे नाव फिरोजशहा असे होते.


💁🏻‍♀️ *बालपण*

           जवाहरलाल आणि कमला या नेहरु दाम्पत्याचे इंदिरा गांधी हे एकमेव अपत्य होते. १९ नोव्हेंबर १९१७ ला इंदिराचा जन्म झाला. मुळात नेहरु हे काश्मिरीपंडित होते. इंदिरांचे आजोबा मोतीलाल नेहरु व्यवसायाने वकील आणि भारतीय राष्ट्रीय काँग्रेस पक्षाचे आघाडीचे नेते होते. भारताच्या राजकारणात त्यांना मानाचे स्थान होते. ते स्वरूप राणी यांसोबत विवाह करून अलाहाबाद येथे स्थायिक झाले. जवाहरलाल नेहरोइओ यांचे शिक्षण इंग्लंड मध्ये झाले, पुढे ते भारतीय स्वातंत्र्य लढ्यातले अतिशय लोकप्रिय, महत्त्वाचे व्यक्तिमत्त्व बनले. तसेच स्वतंत्र भारताचे पहिले पंतप्रधानही बनले. इंदिरा गांधींचे बालपण आपल्या घराच्या स्वातंत्र्य लढ्याच्या संस्कारांतच झाले. पुढे त्यांनी लहान मुलामुलींची वानरसेना चळवळ सुरू केली. निदर्शने, मोर्चे काढणे, बंदी घातलेल्या गोष्टींची वाहतूक करणे वगैरे गोष्टी ही सेना करीत असे.


इंदिरा गांधी ६ वर्षांच्या असतांना त्यांनी दिल्ली येथे केलेले उपोषण

१९३६ मध्ये इंदिरा गांधी यांच्या आई कमला नेहरू यांचे दीर्घ आजाराने देहावसान झाले. यावेळी इंदिरा गांधींचे वय केवळ १८ होते. त्यांचे शिक्षण सोमरविले कॉलेज, ऑक्सफर्ड विद्यापीठ येथे झाले. याच दरम्यान त्या लंडनमधील इंडिया लीगच्या सदस्या झाल्या. १९४० च्या दशकात इंदिरा गांधींनी फुप्फुसाच्या आजारातून बरे होण्यासाठी काही काळ स्वित्झर्लंड मध्ये व्यतीत केला. याच दरम्यान जवाहरलाल यांनी इंदिरा गांधींना लिहलेली पत्रे प्रसिद्ध आहेत. युरोपातल्या वास्तव्यादरम्यानच त्यांची ओळख फिरोज गांधी या तरुणाशी झाली. ही ओळख नंतर प्रेमात बदलून अखेर त्या दोघांनी विवाह केला.

 

👫 *फिरोज गांधींसोबत विवाह*

             इंदिरा गांधींनी इतक्यातच लग्न करू नये म्हणत जवाहरलाल नेहरु यांनी त्यास विरोध केला. पण इंदिरा ठाम होत्या व त्यांनी मार्च १९४२ मध्ये विवाह केला. फिरोज गांधींसुद्धा राजकारणात सक्रिय होते. भारतीय राष्ट्रीय काँग्रेसचे फिरोज व इंदिरा दोघे सदस्य होते. १९४२ च्या लढ्यात भाग घेतला म्हणून दोघांना अटक झाली होती. फिरोज गांधीं हे स्वातंत्र्यानंतर उत्तर प्रदेशातून संसदेवर निवडून गेले होते. या दांपत्याला राजीव व संजय अशी दोन मुले झाली. पण त्यानंतर दोघात दुरावा वाढत गेला. दरम्यानच्या काळात फिरोज गांधींना हृदयविकाराचा झटका आला. अखेर १९६० मध्ये फिरोज गांधींचा मृत्यू झाला.


💠 *राजकारणातला प्रवास*


*भारतीय राष्ट्रीय काँग्रेसचे अध्यक्ष पद*

           १९५९ मध्ये इंदिरा गांधींनी निवडणुकीत भाग घेतला आणि त्या अध्यक्ष म्हणून निवडून आल्या.


📺 *माहिती व नभोवाणी मंत्री*

                 जवाहरलाल नेहरूंच्या मृत्युनंतर लाल बहादूर शास्त्री पंतप्रधान झाले. यात त्यांनी माहिती व नभोवाणीमंत्री हे पद सांभाळले. याचदरम्यान त्यावेळच्या मद्रास राज्यात हिंदीला राष्ट्रीय भाषा घोषित करण्याविरोधात दंगे उसळले होते, तेव्हा त्यांनी मद्रासला भेट दिली. सरकारी अधिकारी, सामाजिक नेते यांची भेट घेउन राग शांत करण्याचा प्रयत्‍न केला. १९६५ चे भारत-पाक युद्ध या दरम्यान त्या श्रीनगर च्या आसपास सुट्या व्यतीत करत होत्या. पाकिस्तानी सैन्य फार जवळ पोहोचले आहे असे संदेश भारतीय सैन्याकडून मिळूनही त्यांनी जम्मू अथवा दिल्ली येथे जाण्यास नकार दिला. अशा प्रकारच्या धाडसी कामांमुळे त्यांची लोकप्रिय छबी निर्माण करण्यात त्या यशस्वी झाल्या.


पाकचे आक्रमण परतून लावण्यात भारताला यश आले. १९६६ च्या जानेवारी महिन्यात तत्कालीन सोव्हियत संघात ताश्कंद येथे पाकिस्तानचे अयुब खान आणि लालबहादुर शास्त्री यात शांती समझोता झाला. पण त्यानंतर काही तासातच त्यांचे हृदयविकाराच्या झटक्याने निधन झाले. यानंतर भारतीय राष्ट्रीय काँग्रेसमध्ये पंतप्रधान पदासाठी स्पर्धाच सुरू झाली. मोरारजी देसाई यांनी आपला अर्ज भरला. पण तत्कालीन काँग्रेस अध्यक्ष कामराज यांनी अंतर्गत राजकारणातून इंदिरा गांधीना पाठिंबा दिला. ३५५ विरुद्ध १६९ मतांनी विजय मिळवला. त्या भारताच्या पाचव्या पंतप्रधान आणि पहिल्या महिला पंतप्रधान झाल्या.


👩‍🦰 *पंतप्रधान* ⚜️

                               इंदिरा गांधी पंतप्रधान झाल्यानंतर लगेच काँग्रेसमध्ये फूट पडली. राममनोहर लोहिया हे त्यांना गुंगी गुडिया म्हणून संबोधायचे. अखेर १९६७ च्या निवडणुकात काँग्रेसचे ६० जागांचे नुकसान झाले. ५४५ पैकी २९७ जागांवर विजय मिळवून सत्ता मिळाली. मोरारजी देसाई यांना उपपंतप्रधानपद आणि अर्थमंत्री पद द्यावे लागले. तरी अखेर १९६९ मध्ये मोरारजी सोबतच्या वादांनी काँग्रेसची दोन शकले झाली. इतर पक्षांचा पाठिंबा मिळवून त्यांनी सरकार वाचवले.


जुलै १९६९ मध्येच त्यांनी बँकांचे राष्ट्रीयीकरण केले.


💣 *१९७१ चे भारत पाक युद्घ*

                   १९७१ च्या सुमारास पाकिस्तानी सैन्याने तत्कालीन पूर्व पाकिस्तानात जनतेवर अत्याचाराचे सत्र आरंभले. शेख मुजीबुर रेहमान हे पूर्व पाकिस्तानातून असल्यामुळेच बहुमत असूनही त्यांना पंतप्रधान होण्यापासून थांबवले गेले. पूर्व पाकिस्तानातून सुमारे १ कोटी निर्वासित भारतात आले. त्यांचा भार भारतावर पडत होता तरी पाकिस्तान भारतालाच दूषणे देत होता. दरम्यान अतिरेक्यांनी भारताच्या प्रवासी विमानाचे अपहरण करून ते पाकिस्तानात नेऊन जाळले. अखेर १९७१ च्या डिसेंबर मध्ये भारताने युद्धाची घोषणा केली. अमेरिकेचे तत्कालीन अध्यक्ष रिचर्ड निक्सन यांनी पाकिस्तानला पाठिंबा देत इंदिरा गांधींना संयुक्त राष्ट्राच्या कारवाईची धमकी देऊन पाहिली, पण इंदिरा गांधी बधल्या नाहीत.


📝 *इंदिरा गांधी यांचे चरित्रलेखक*

इंदर मल्होत्रा

उषा भगत (इंदिराजी थ्रू माय आईज)

कॅथेरीन फ्रँक (मराठी अनुवाद - लीना सोहोनी)

डॉम मोराईस (मिसेस गांधी)

पी.सी. ॲलेक्झांडर (My years with Indira Gandhi; इंदिरा गांधी अंतिम पर्व)

पुपुल जयकर (Indira Gandhi - Biography, मराठी अनुवाद अशोक जैन)

प्रणय गुप्ते (मूळ इंग्रजीत, मदर इंडिया. मराठी अनुवाद : पंढरीनाथ सावंत, रमेश दिघे)

सागरिका घोष (इंग्रजीत, India's Most Powerful Prime Minister)

 

📕 *इंदिरा गांधी यांच्यावरील अन्य पुस्तके*

               अनोखे मैत्र (अनुवादित, अनुवादक - सुजाता गोडबोले; मूळ इंदिरा गांधीलिखित Letters to an American Friend)

इंदिरा गांधी : एक वादळी पर्व (माधव गोडबोले)

दृष्टिआडच्या इंदिरा गांधी (अनुवादित; अनुवादक - सुजाता गोडबोले; मूळ इंग्रजी The Unseen Indira Gandhi; लेखक - डॉ. के.पी. माथुर)


🔲 *टपालाचे तिकीट*

                        इंदिरा गांधी यांची छबी असलेले पाच रुपये किमतीचे टपालाचे तिकीट होते. सप्टेंबर २०१५ पासून त्याची छपाई बंद करण्यात आली.

                      

          

सरदार वल्लभ भाई पटेल..

                                          

            *भारतरत्न लोहपुरुष* 

      *सरदार वल्लभ भाई पटेल*

*(भारतीय स्वतंत्रता संग्राम सेनानी)*


   *जन्म : 31 अक्टोबर 1875*

(नडियाद, बंबई प्रेसीडेंसी, ब्रिटिश भारत)

     *मृत्यु :15 डिसेंबर 1950* 

                   (वय 75)

वडिल : झावेरभाई पटेल

आई : लाडबाई

पत्नी : झावेरबा

मुलांची नावं : दहयाभाई पटेल, मणिबेन पटेल 

शिक्षण : एन.के. हायस्कुल पेटलाड, इंस ऑफ कोर्ट लंडन इंग्लंड

पुस्तक : राष्ट्र के विचार, वल्लभभाई पटेल, वल्लभभाई पटेल  के संग्रहित कार्य, 15 खंड

स्मारक : स्टॅच्यू ऑफ युनिटी     *भारताचे उप-प्रधानमंत्री*

                *पद बहाल*

15 अॉगष्ट 1947 – 15 डिसेंबर 1950

प्रधानमंत्री : जवाहरलाल नेहरु

पूर्वा धिकारी : पद सृजन

उत्तरा धिकारी : मोरारजी देसाई

            *गृह मंत्रालय*

             *पद बहाल*

15 अॕॉगष्ट 1947 – 15 डिसेंबर 1950

प्रधानमंत्री : जवाहरलाल नेहरु

पूर्वा धिकारी : पद सृजन

उत्तरा धिकारी : चक्रवर्ती  

                       राजगोपालाचारी

🔸 *वल्लभभाई पटेलांचा जन्म आणि प्रारंभिक जीवन*

वल्लभाईंचा जन्म नडियाद येथे 31 ऑक्टोबर 1875 ला एका जमीनदार परिवारात झाला. झवेरभाई पटेल आणि लाडबाईंचे हे चैथे अपत्य. वल्लभाईंचे वडिल शेतकरी आणि आई एक गृहिणी व आध्यात्मिक धर्मपरायण महिला. वल्लभभाईंना तीन मोठे भाऊ नरसीभाई, विðलभाई व सोमाभाई आणि एक बहिण जीचे नाव दहीबा पटेल असे होते.


👫🏻 *वल्लभभाई पटेल यांचा विवाह*

            त्या काळी बालविवाहाची प्रथा असल्याने वल्लभभाई पटेल यांचा विवाह वयाच्या अवघ्या 16 व्या वर्षी 1891 साली झावेरबा नावाच्या कन्येशी करून देण्यात आला. त्यांच्या पासुन दहयाबाई आणि मणिबेन पटेल अशी दोन अपत्ये झालीत.


♦️ *पत्नीच्या मृत्युची बातमी ऐकुन देखील कोर्टात करत राहीले कामकाज*

        वल्लभभाईंची पत्नी झावेरबा कॅंसर ने पीडित असल्याने त्यांचा आणि वल्लभभाईंचा संसार दिर्घकाळ टिकला नाही 1909 साली त्यांचे निधन झाले.

                  ज्यावेळी झावेरबांच्या निधनाची बातमी वल्लभभाईंना मिळाली त्यावेळी ते कोर्टात कामात व्यस्त होते. ही बातमी मिळाल्यानंतर देखील त्यांनी आपले कामकाज पुर्ण केले कोर्टातील खटला जिंकले देखील त्यानंतर आपल्या पत्नीच्या मृत्युची बातमी त्यांनी सर्वांना दिली. पुढे आपले संपुर्ण जीवन आपल्या अपत्यांसमवेत विधुर म्हणुन व्यतीत केले.


💁🏻‍♂️ *वल्लभभाई पटेलांचे शिक्षण आणि वकिलीची सुरूवात*

       आपले प्रारंभिक जीवन त्यांनी गुजराती मीडियम स्कुल मधुन पुर्ण केले. पुढे त्यांनी इंग्लिश मिडियम शाळेत प्रवेश घेतला. शिक्षण पुर्ण करण्याकरीता त्यांना विलंब लागला. 1897 ला वयाच्या 22 व्या वर्षी त्यांनी 10 वी ची परिक्षा उत्तीर्ण केली.

               घरची परिस्थीती बेताची असल्याने महाविद्यालयात न जाता वल्लभभाईंनी घरी राहुनच पुस्तकं उधार घेउन शिक्षण घेतले. शिवाय जिल्हाधिकारी होण्याकरता दिल्या जाणा-या परिक्षेचा अभ्यास सुध्दा त्यांनी घरूनच केला. अभ्यासात ते एवढे हुशार होते की या परिक्षेत त्यांना सगळयात जास्त गुण मिळाले.

            1910 साली लाॅ ची पदवी मिळविण्याकरता वल्लभभाई इंग्लंड ला गेले. काॅलेज चा त्यांना कुठलाही अनुभव नव्हता परंतु ते बुध्दीने एवढे तल्लख होते की 36 महिन्यांचा कोर्स त्यांनी अवघ्या 30 महिन्यांमधे पुर्ण केला.  अश्याप्रकारे 1913 साली वल्लभभाईंनी इंस ऑफ कोर्ट मधून वकिलीची पदवी मिळवीली, या परिक्षेत सर्वाधिक गुण मिळवले आणि काॅलेज मधुन पहिले आले.

        त्यानंतर वल्लभभाई भारतात परतले गुजरात मधील गोधरा येथे त्यांनी वकिलीची प्रॅक्टिस सुरू केली. वकिलीतील त्यांची समज पाहुन ब्रिटीश सरकारने त्यांना कित्येक मोठया पदांवर नियुक्ती देण्यास आमंत्रीत केले परंतु वल्लभभाई पटेलांनी ब्रिटीश शासनाचा एकही प्रस्ताव स्विकारला नाही कारण त्यांना ब्रिटींशांचा एकही कायदा अजिबात पसंत नव्हता आणि ते त्यांचे कट्टर विरोधक होते त्यामुळे ब्रिटींशाकडुन आलेला एकही प्रस्ताव त्यांनी स्विकारला नाही.


🔆 *वल्लभभाई गांधीवादी विचारांनी प्रभावित झाले*

          पुढे ते अहमदाबाद येथे एक यशस्वी बॅरिस्टर म्हणुन काम करू लागले, सोबतच ते गुजरात क्लब चे सदस्य देखील झाले या दरम्यान त्यांनी महात्मा गांधीजींच्या एका व्याखानात भाग घेतला त्यावेळी ते गांधीजींच्या विचारांनी फार प्रभावित झाले. पुढे गांधीजींचा कट्टर अनुयायी बनण्याचा त्यांनी निर्णय घेतला. अश्यातऱ्हेने ते गांधीवादी सिध्दांतावर चालु लागले हळुहळु राजकारणाचा हिस्सा बनले.

🔸 *वल्लभभाई पटेलांची राजकिय कारकिर्द*

⚜️ *स्वातंत्र्य संग्रामात सरदार वल्लभभाई पटेलांची भुमिका*

                  भारताच्या स्वातंत्र्याचे महानायक महात्मा गांधी यांच्या प्रभावशाली विचारांनी प्रेरित होउन वल्लभभाईंनी अस्पृश्यता, जातीयवाद, स्त्रियांवर होत असलेल्या अत्याचारा विरोधात आवाज उठविला आणि समाजात पसरलेली नकारात्मकता दुर करण्याकरीता भरपुर प्रयत्न केलेत.

                    सोबतच गांधीजींच्या विचारधारेला स्विकारत स्वातंत्र्य संग्रामात सहभागी होण्याचा निर्णय घेतला.


🔮 *शेतकरी संघर्षात वल्लभभाईंची महत्वाची भुमिका*

                    महात्मा गांधीजींच्या शक्तिशाली विचारांनी प्रभावित झालेल्या वल्लभभाई पटेलांनी 1917 साली शेतकऱ्यांच्या आंदोलनात महत्वाची भुमिका बजावली. त्या दरम्यान गुजरात मधील ग्रामीण भाग मोठया प्रमाणात दुष्काळाचा सामना करीत होता अश्यात शेतकरी ब्रिटीशांनी लावलेले अवास्तव कर देण्यास समर्थ नव्हते त्यामुळे शेतकऱ्यांनी ब्रिटीश शासनाला करात सवलत देण्याची विनंती केली होती.

                  परंतु शेतकऱ्यांच्या या प्रस्तावाला ब्रिटीश शासनाने धुडकावुन लावले त्यावेळी सरदार वल्लभ भाई पटेल यांनी मोठया प्रमाणावर ’नो टॅक्स कॅंपेन ’ या मोहिमेचे नेतृत्व केले आणि शेतकऱ्यांना कर न भरण्यास प्रोत्साहन दिले.

                   या संघर्षामुळे ब्रिटीश शासनाला सरदार पटेलांच्या दृढ संकल्पापुढे झुकण्यास मजबुर व्हावे लागले आणि शेतकऱ्यांना करा मधे सवलत द्यावी लागली. स्वातंत्र्य समरात सरदार वल्लभ भाई पटेलांचे हे पहिले मोठे यश मानल्या गेले.                               ♦️ *महात्मा गांधीजींच्या असहकार आंदोलनासमवेत सर्व आंदोलनांना सरदार वल्लभ भाई पटेलांनी दिले समर्थन*   

वल्लभ भाई पटेल गांधीजींच्या विचारांनी एवढे प्रभावित होते की 1920 साली असहकार आंदोलनादरम्यान त्यांनी स्वदेशी खादी वस्तुंचा स्विकार केला आणि विदेशी कपडयांची होळी केली.

                  याशिवाय वल्लभभाई पटेलांनी गांधीजींनी शांततापुर्वक केलेल्या देशव्यापी आंदोलन उदा. स्वातंत्र्य संग्राम, भारत छोडो आंदोलन, दांडी यात्रा यात गांधीजींचे समर्थन करीत सहकार्य केले.

 *अशी मिळाली सरदार ही पदवी*

                     आपल्या वक्र्तृत्वाने जनसामान्यांना प्रभावित करणा-या सरदार पटेलांनी 1928 साली सायमन कमिशन विरोधात पुकारलेल्या बारडोली सत्याग्रहा दरम्यान लोकांना आपल्या महान विचारांनी फार प्रभावित केले त्यामुळे इंग्रजांनी अवाजवी वाढवलेल्या करांना न भरण्यावर जनता सहमत झाली त्यामुळे ब्रिटीश व्हाईसराय ला पराभव पत्करावा लागला.

               या आंदोलनात आपल्या सशक्त नेतृत्वाने वल्लभभाई पटेल जनतेत चांगलेच प्रसिध्द झाले आणि बारडोलीतील लोक त्यांना सरदार म्हणु लागले त्यामुळे पुढे सरदार त्यांच्या नावा आधी जोडल्या गेले.


🌀 *काॅर्पोरेशनच्या अध्यक्षांपासुन ते देशाच्या पहिल्या गृहमंत्रीपदापर्यंतचा प्रवास*

                     दिवसेंदिवस सरदार वल्लभभाई पटेलांची ख्याती वाढत चालली होती आणि त्यामुळेच अहमदाबाद येथील निवडणुकांमधे त्यांनी सतत विजय मिळवला. 1922, 1924 आणि 1927 ला ते अहमदाबाद नगरपालीकेचे अध्यक्ष म्हणुन निवडल्या गेले.

             1931 साली वल्लभभाई पटेल कॉंग्रेस च्या 36 व्या अहमदाबाद अधिवेशनात स्वागत समितीचे अध्यक्ष बनले आणि ते गुजरात प्रदेशाच्या कॉंग्रेस समितीचे पहिले अध्यक्ष म्हणुन नियुक्त झाले पुढे 1945 पर्यंत ते गुजरात कॉंग्रेसच्या अध्यक्ष पदावर राहिले.

           या दरम्यान त्यांना अनेकदा कारागृहात देखील जावे लागले. भारताला स्वातंत्र्य मिळाल्यानंतर वल्लभभाई पटेल भारताचे गृहमंत्री आणि उपप्रधानमंत्री झाले. तसे पाहाता सरदार वल्लभभाई पटेल यांची ख्याती आणि प्रसिध्दी एवढी पसरली होती की प्रधानमंत्री होण्याचे सामथ्र्य त्यांच्यात होते परंतु महात्मा गांधीजीं मुळे त्यांनी स्वतःला या स्पर्धेपासुन दुर ठेवले आणि जवाहरलाल नेहरूंना देशाचे पहिले प्रधानमंत्री बनविण्यात आले.


♨️ *स्वदेशी साम्राज्यांना एकत्रीत करण्याकरीता सरदार पटेल यांनी निभावली महत्वपुर्ण भुमिका*

                स्वतंत्र भारताचे गृहमंत्री झाल्यानंतर वल्लभभाई पटेल यांनी सर्वात आधी भारतातील वेगवेगळया साम्राज्यातील राजांना आपल्या राजनैतिक दुरदर्शीपणाचा आणि बुध्दीमत्तेचा वापर करत संघटीत केले आणि वेगवेगळया राज्यांचे स्वप्न सत्यात उतरणे शक्य नसल्याची जाणीव भारतीय संघातील 565 साम्राज्यांच्या राजांना करून दिली.

              त्यानंतर भारतात विलीन होण्याकरता सर्व राज्यांनी सहमती दर्शवली परंतु हैदराबाद चे निजाम, जुनागढ आणि जम्मु कश्मीर च्या नवाबांनी मात्र आपले साम्राज्य भारतात विलीन करण्यास विरोध दर्शविला. वल्लभभाई पटेल यांनी आपल्या कुशाग्र बुध्दीमत्तेच्या बळावर सैन्याचा वापर करीत या तिन राज्यांना आपले साम्राज्य भारतात विलीन करण्यास सहमत करून घेतले.

          वल्लभभाई पटेलांनी अश्या तऱ्हेने भारतीय संघाला कोणत्याही युध्दाशिवाय शांततेच्या मार्गाने एकत्रीत केले. या महान कार्यामुळे त्यांना लोहपुरूष ही पदवी देण्यात आली.


🔰 *सरदार वल्लभभाई पटेल आणि भारताचे विभाजन*

                   फाळणी संघर्ष आणि आंदोलनात मुस्लीम लीग नेता मुहम्मद अली जिन्ना यांच्या नेतृत्वात स्वातंत्र्यप्राप्तीच्या अगदी आधी पेटलेल्या हिंदु मुस्लीम संघर्षाला हिंसात्मक स्वरूप देण्यात आले होते.

               सरदार पटेल यांच्या मते स्वातंत्र्य प्राप्तीनंतर अश्यात तऱ्हेने हिंसात्मक आणि सांप्रदायिक दंगे केंद्र सरकारच्या कार्यक्षमतेला कमजोर बनवतील परिणामी असे संघर्ष लोकतांत्रिक राष्ट्राला मजबुत करण्याकरीता बाधा पोहोचवतील.

                  या समस्येला निकाली काढण्याकरीता पटेल यांनी 1946 ला सिव्हील वर्कर वी.पी मेनन यांच्यासमवेत काम केलं आणि फाळणी परिषदेदरम्यान भारताचे प्रतिनीधीत्व केले.


🪔 *निधन* 

                    1950 साली सरदार वल्लभभाई पटेल यांचे स्वास्थ्य बिघडु लागले. 2 नोव्हेंबर 1950 ला त्यांची प्रकृती एवढी बिघडली की ते अंथरूणावरून उठण्यास देखील असमर्थ होते. पुढे 15 डिसेंबर 1950 ला आलेल्या हृदयविकाराच्या तिव्र धक्क्याने या महान आत्म्याची प्राणज्योत मालवली.


📜 *सरदार वल्लभभाई पटेल यांना मिळालेले सन्मान*

       1991 साली त्यांना मरणोत्तर भारताच्या सर्वोच्च नागरिक सन्मान भारत रत्न ने गौरविण्यात आले. त्यांचा जन्मदिवस 31 ऑक्टोबर ला 2014 साली राष्ट्रीय एकता दिवसाच्या रूपात घोषित करण्यात आले.


या व्यतिरीक्त भारत सरकार व्दारा 31 ऑक्टोबर 1965 ला सरदार पटेल यांच्या स्मरणार्थ पोस्टाने डाक तिकीट प्रकाशित केले. एवढेच नव्हे तर त्यांच्या नावावर अनेक शिक्षण संस्था, रूग्णालयं आणि विमानतळांचे नामकरण करण्यात आले… जसे की


सरदार वल्लभभाई पटेल कृषी आणि प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय मेरठ

सरदार वल्लभभाई राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान, सुरत

सरदार पटेल विश्वविद्यालय, गुजरात

सरदार पटेल विद्यालय, नई दिल्ली

सरदार वल्लभभाई पटेल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नाॅलाॅजी, वासद

स्मारक सरदार पटेल मेमोरियल ट्रस्ट

सरदार वल्लभभाई पटेल राष्ट्रीय स्मारक, अहमदाबाद

सरदार सरोवर बांध, गुजरात

सरदार वल्लभभाई पटेल इंटरनॅशनल एयरपोर्ट, अहमदाबाद

सरदार वल्लभभाई पटेल स्टेडियम, अहमदाबाद

🎯 *सरदार वल्लभभाई पटेल यांच्या जीवनावर एक दृष्टीक्षेप*

▪️1913 साली लंडन येथुन बॅरिस्टरची पदवी संपादन करून भारतात परतले

▪️1916 मध्ये लखनौ येथे पार पडलेल्या राष्ट्रीय कॉंग्रेस अधिवेशनात वल्लभभाईंनी गुजरात चे प्रतिनिधीत्व केले.           ▪️ 1917 साली ते अहमदाबाद नगरपालिकेच्या निवडणुकीत निवडुन आले.

▪️1917 मधे शेतकऱ्यांच्या सत्याग्रहाचे त्यांनी प्रतिनीधीत्व केले, शेतसारा बंदी आंदोलनाचे त्यांनी नेतृत्व केले, अखेर ब्रिटीशांना झुकावेच लागले, सगळे कर माफ केले, सरदार पटेलांच्या नेतृत्वात झालेल्या आंदोलनाला यश मिळाले 1918 साली जुन महिन्यात शेतकऱ्यांनी विजयोत्सव साजरा केला त्यावेळी महात्मा गांधीजींना आमंत्रीत करून त्यांच्या हस्ते वल्लभभाईंना मानपत्र देण्यात आले.

▪️ 1919 साली रौलेट अॕक्ट विरोधात वल्लभभाई पटेलांनी अहमदाबाद येथे खुप मोठा मोर्चा काढला

▪️ 1920 ला गांधीजींनी असहकार आंदोलन सुरू केले. या आंदोलनात वल्लभभाईंनी आपले संपुर्ण जीवन देशाला समर्पीत केले. प्रत्येक महिन्याला हजारो कमवुन देणारी वकिली देखील त्यांनी देशाकरता सोडुन दिली.

▪️ 1921 मधे गुजरात प्रांतीय कॉंग्रेस कमिटीच्या अध्यक्षस्थानी त्यांची निवड झाली.

▪️1923 साली ब्रिटीश शासनाने तिरंग्यावर बंदीचा कायदा केला त्या विरोधात वेगवेगळया ठिकाणांवरून हजारो सत्याग्रही नागपुर येथे एकत्रीत झाले, साडेतीन महिने जोशपुर्ण लढाई सुरू झाली. या लढाईला संपवण्याकरीता ब्रिटीशांनी अनेक अयशस्वी प्रयत्नं केले.

▪️1928 मधे बारडोली येथे वल्लभभाईंच्या नेतृत्वात शेतकऱ्यांच्या हिताकरता शेतसारा बंदी आंदोलन सुरू झाले. सुरूवातीला वल्लभभाईंनी ब्रिटीश सरकारला शेतसारा कमी करण्याचे निवेदन दिले परंतु सरकारने त्यांच्याकडे दुर्लक्ष केले. वल्लभभाईंनी योजनाबध्द आणि सावधानतेने आंदोलन सुरू केले. आंदोलनाला दाबण्याकरीता ब्रिटीशांनी अनेक अयशस्वी प्रयत्नं केले परंतु त्याच वेळी मुंबईत विधानसभेच्या काही सदस्यांनी आपापल्या पदांचा राजिनामा दिला. याचा परिणाम हा झाला की सरकारने शेतकऱ्यांच्या मागण्या सशर्त मान्य केल्या. बारडोलीत शेतकऱ्यांनी वल्लभभाईंना ’सरदार’ हा बहुमान दिला.

▪️1931 कराचीत झालेल्या राष्ट्रीय कॉंग्रेस अधिवेशनाच्या अध्यक्षस्थानी वल्लभभाई होते.

▪️1942 ला ’भारत छोडो’ आंदोलनात सहभागी झाल्यामुळे त्यांना जेल मधे जावे लागले.

▪️1946 ला स्थापन झालेल्या मध्यवर्ती अभिनय मंत्रीमंडळात ते गृहमंत्री होते. पटेल घटनासमितीचे सदस्य देखील होते.

▪️15 ऑगस्ट 1947 ला भारत स्वतंत्र झाला. स्वातंत्र्यप्राप्ती नंतर पहिल्या मंत्रीमंडळात उपपंतप्रधान पदाचे स्थान त्यांना मिळाले त्यांच्या जवळ गृह, माहिती, प्रसारण, तसेच घटक राज्य संबंधीत प्रश्नांची खाती देण्यात आली.                                 ▪️वल्लभभाईंनी स्वातंत्र्यप्राप्तीनंतर जवळ जवळ सहाशे साम्राज्यांचे भारतात विलीनीकरण केले, हैद्राबाद संस्थान देखील त्यांनी घेतलेल्या पोलिस कारवाईमुळे 17 सप्टेंबर 1948 ला भारतात विलीन झाले.                                           🎞️📽️ *सरदार वल्लभभाई पटेल यांच्यावर आधारीत चित्रपट*

                    1993 साली सरदार वल्लभभाई पटेल यांची बायोपिक फिल्म ’सरदार’ प्रदर्शित झाली होती या चित्रपटाचे दिग्दर्शक केतन मेहता होते या चित्रपटात सरदार वल्लभभाईंची भुमिका परेश रावल यांनी साकारली होती.


🗽 *स्टैच्यू ऑफ यूनिटी*

       लोहपुरूष सरदार वल्लभभाई पटेल यांच्या स्मरणार्थ जगातील सर्वात उंच मूर्ति स्टैच्यू ऑफ यूनिटी तयार करण्यात आली. त्याची उंची जवळपास 182 मीटर आहे. या मुर्तीची कोनशिला 2013 साली सरदार पटेल यांच्या जयंतीदिनी भारताचे पंतप्रधान नरेन्द्र मोदी यांच्या हस्ते ठेवण्यात आली होती आणि नरेंद्र मोदी यांच्या हस्तेच 2018 ला जगातील सर्वात उंच प्रतिमेचे उद्घाटन करण्यात आले.

                    अश्या तऱ्हेने सरदार वल्लभभाई पटेल यांनी आपले संपुर्ण जीवन देशाला समर्पित केले. त्यांनी केवळ अनेक भागांत वाटल्या गेलेल्या भारतिय संघाला एकिकृत करण्यात आपली महत्वाची भुमिका बजावली असे नाही तर आपल्या बुध्दीमत्तेच्या आणि दुरदर्शितेच्या जोरावर कित्येक असे निर्णय घेतले ज्याचा उपयोग आधुनिक भारताच्या निर्मीतीत झाला. भारताकरीता अश्या महान वीर सुपुत्राचा जन्म होणे गौरवपुर्ण आहे.

 

         

भारतरत्न अटलबिहारी वाजपेयी..

                                                             *भारतरत्न अटलबिहारी वाजपेयी*           (भारताचे ११ वे पंतप्रधान)    *जन्म : २५ ...